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गरीब परिवारों को पक्का मकान देकर प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी के संकल्प को साकार कर रही है छत्तीसगढ़ सरकार: मुख्यमंत्री श्री विष्णु देव साय

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मुख्यमंत्री श्री साय भैंसा में आयोजित सुशासन तिहार में ग्रामीणों से हुए रूबरू

‘विकसित कृषि संकल्प अभियान’ के लिए 10 जागरूकता रथों को दिखाई हरी झंडी

भैंसा में प्राथमिक स्वास्थ्य केंद्र, पानी टंकी, हायर सेकेंडरी स्कूल भवन सहित विभिन्न विकास कार्यों के लिए दी ₹3.5 करोड़ की सौगात

नवीन पुलिस चौकी की स्थापना की घोषणा

समाधान शिविर में 110 हितग्राहियों को प्रधानमंत्री आवास की चाबी सौंपी

रायपुर@M4S:मुख्यमंत्री विष्णु देव साय आज रायपुर जिले के ग्राम भैंसा में आयोजित सुशासन शिविर में शामिल हुए। इस अवसर पर उन्होंने देशभर में प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी के नेतृत्व में 29 मई से 12 जून तक चलने वाले ‘विकसित कृषि संकल्प अभियान’ के तहत 10 जागरूकता रथों को हरी झंडी दिखाकर अभियान की शुरुआत की।

शिविर में मुख्यमंत्री ने प्रधानमंत्री आवास योजना के अंतर्गत निर्मित 110 पक्के मकानों की चाबी हितग्राहियों को सौंपी, और कहा कि प्रधानमंत्री  नरेंद्र मोदी का संकल्प है कि देश का कोई भी गरीब परिवार कच्चे मकान में न रहे। हमारी सरकार इस संकल्प को साकार करने हेतु छत्तीसगढ़ में 18 लाख से अधिक प्रधानमंत्री आवास स्वीकृत कर चुकी है। उन्होंने यह भी स्पष्ट किया कि बचे हुए पात्र परिवारों को ‘आवास प्लस प्लस’ योजना के अंतर्गत जोड़ा जाएगा।

मुख्यमंत्री ने ग्राम भैंसा और आसपास के क्षेत्रों के विकास के लिए करीब 3 करोड़ 50 लाख रुपए की लागत वाले विभिन्न कार्यों की घोषणा की। इसमें ग्राम भैंसा में प्राथमिक स्वास्थ्य केंद्र के लिए 75 लाख रुपए, हाईस्कूल भवन निर्माण के लिए 75 लाख रुपए, पानी टंकी एवं पाइपलाइन विस्तार हेतु 55 लाख रुपए, हायर सेकेंडरी स्कूल निर्माण हेतु 50 लाख रुपए, अहाता एवं शेड निर्माण हेतु 20 लाख रुपए, ग्राम अमोड़ी में पाइपलाइन विस्तार हेतु 42 लाख रुपए, हायर सेकेंडरी स्कूल में तीन अतिरिक्त कक्षों के निर्माण हेतु 24 लाख रुपए की राशि प्रदान करने की घोषणा की। इसके अतिरिक्त उन्होंने भैंसा में नवीन पुलिस चौकी खोलने की भी घोषणा की।

मुख्यमंत्री श्री साय ने समाधान शिविर के दौरान विभिन्न हितग्राहियों से योजनाओं के फीडबैक भी लिए। श्रीमती चंदन ने ‘महतारी वंदन योजना’ के लिए मुख्यमंत्री का आभार व्यक्त करते हुए बताया कि वे इस योजना की राशि का उपयोग बच्चों की पढ़ाई और आवश्यक जरूरतों में करती हैं।

मुख्यमंत्री श्री साय ने कहा कि सुशासन तभी सार्थक होता है जब उसकी गूंज गांव-गांव और  घर-घर तक सुनाई दे। आज प्रधानमंत्री आवास की चाबियाँ सिर्फ मकान की नहीं, बल्कि आत्मसम्मान और सुरक्षित जीवन की चाबियाँ हैं।

स्वास्थ्य मंत्री ने किया पोड़ी उपरोड़ा सामुदायिक स्वास्थ्य केंद्र का औचक निरीक्षण  अनुपस्थित मिले कई कर्मी, नोटिस जारी करने के निर्देश

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कोरबा@M4S:स्वास्थ्य मंत्री श्याम बिहारी जायसवाल अचानक पोड़ी उपरोड़ा सामुदायिक स्वास्थ्य केंद्र के निरीक्षण पर पहुंचे। उनके अचानक पहुंचने से अस्पताल के कर्मचारी और स्थानीय लोग हैरान रह गए। निरीक्षण के दौरान मंत्री ने अस्पताल की व्यवस्थाओं और अव्यवस्थाओं का जायजा लिया।इस दौरान ड्यूटी पर अनुपस्थित पाए गए 4 से 5 कर्मचारियों को नोटिस जारी करने के निर्देश दिए गए।
स्थानीय लोगों ने मंत्री से मुलाकात कर अस्पताल में लंबे समय से सोनोग्राफी मशीन और महिला सर्जन की कमी की शिकायत की। साथ ही पोड़ी उपरोड़ा मुख्यालय में 108 एम्बुलेंस की अनुपलब्धता की भी बात उठाई। मंत्री जायसवाल ने इन सभी मांगों पर शीघ्र कार्रवाई का आश्वासन दिया और कहा कि जल्द ही आवश्यक सुविधाएं उपलब्ध कराई जाएंगी। इसके अलावा अस्पताल कर्मचारियों ने परिसर में पानी की कमी की समस्या से भी मंत्री को अवगत कराया। मंत्री ने इस मुद्दे पर भी आवश्यक कदम उठाने का भरोसा दिलाया।

हत्या का फरार आरोपी चढ़ा पुलिस के हत्थे

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 कोरबा@M4S:पसान पुलिस ने हत्या के मामले में फरार चल रहे 10 हजार रुपए के इनामी आरोपी को गिरफ्तार किया है। आरोपी ने 500 रुपए को लेकर अपने ही गांव के शख्स की हत्या कर दी थी। घटना के बाद आरोपी फरार था। पुलिस ने मुखबिर की सूचना पर आरोपी को गिरफ्तार कर लिया है।
मामला पसान थाना क्षेत्र का है। घटना छेरछेरा पर्व के दिन की है। जानकारी के अनुसार, आरोपी रामसिंह मरपच्ची (45) ग्राम रानीमान का रहने वाला है। रामसिंह ने इसी गांव के कल्याण सिंह (45) को 500 रुपए उधार दिए थे।
पैसे मांगने पर कल्याण ने नहीं होने की बात कही। इस पर रामसिंह उसके घर तक पहुंच गया। वहां कल्याण ने शराब लाने को कहा। रामसिंह ने पैसों की कमी बताई। इस बात को लेकर दोनों में विवाद हो गया। गुस्से में रामसिंह ने कमरे में रखे डंडे से कल्याण की पीट-पीटकर हत्या कर दी। इसके बाद वह फरार हो गया। आरोपी को पकडक़र कोर्ट में पेश कर जेल भेज दिया गया है। आरोपी मरवाही में एक ईंट भट्टी पर काम करता था। वहां ठेकेदार सिर्फ खाना देता था, मजदूरी नहीं देता था। इस वजह से वह आर्थिक तंगी से जूझ रहा था। आरोपी के पास मोबाइल नहीं था। उसके परिजनों को भी उसकी जानकारी नहीं थी। पुलिस की कई दिनों की तलाश के बाद भी सुराग नहीं मिला। फिर विभाग ने उस पर 10 हजार का इनाम घोषित किया। लंबे समय बाद जब वह अपनी बेटी से मिलने आया, तब मुखबिर की सूचना पर पुलिस ने उसे पकड़ लिया।

यात्री ट्रेनों में लगातार ब्रेक, अप्रैल में 80 ट्रेनें रद्द, मार्च और मई में भी नहीं चली 100 से ज्यादा ट्रेनें  किया गया रिफंड, रेल मंडल को झेलना पड़ रहा है नुकसान

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कोरबा@M4S:यात्री ट्रेनों का रद्द किया जाना यात्रियों के लिए परेशानी का कारण बन गया है। इसमें दक्षिण पूर्व मध्य रेलवे की बिलासपुर-रायपुर मंडल की ट्रेने अधिक है। जनवरी से लेकर मई 2025 तक 300 एक्सप्रेस ट्रेन व 1150 से भी ज्यादा पैसेंजर ट्रेनों को रद्द किया गया है। रेलवे के अनुसार बिलसपुर जोन ने रेलवे यात्रियों को करीब 50 लाख रुपए रिफंड किया है।
रेलवे अलग-अलग कारणों से यात्री ट्रेनों को रद्द करता रहा है। अलग-अलग स्टेशन में नॉन इंटरलॉकिंग समेत तीसरी-चौथी लाइन की कनेक्टिवीटी के कारण इन ट्रेनों को रद्द किया जा रहा है। रेलवे के मुताबिक अप्रैल में ही करीब 80 ट्रेनें रद्द रही। मार्च और मई में भी 100 से ज्यादा ट्रेनें नहीं चली है। रेलवे का लगातार काम चलता रहता है इसलिए ट्रेनें कैंसिल की जाती है पर इससे यात्री परेशानी में पड़ जाते हैं। कई बार यात्री अपनी यात्रा की तैयारी कर चुका होता है और ऐन वक्त पर ट्रेन कैंसिल होने की जानकारी मिलती है। रेलवे के अनुसार झलावारा स्टेशन पर कटनी ग्रेड सेपरेटर लाइन (कटनी-मुड़वारा से) और सिंगरौली दिशा की ओर टाई-लाइन की कनेक्टिविटी के कमीशनिंग के लिए नॉन-इंटरलॉकिंग का कार्य किया जाएगा। इसके कारण 1 से 9 जून तक अलग-अलग दिनों में 18 ट्रेनों को रद्द किया गया है। इससे करीब 50 हजार यात्रियों को परेशानी का सामना करना पड़ेगा। लगातार ट्रेनों को रद्द होने से रेल मंडल को काफी नुकसना भी झेलना पड़ रहा है। प्रमुख एक्सप्रेस ट्रेनें जैसे गीतांजली एक्सप्रेस, आजाद हिंद और टाटा इतवारी जैसी लंबी दूरी वाले ट्रेनें कई दिनों तक रद्द रही। रायपुर मंडल के भिलाई-दुर्ग समेत अन्य स्टेशन से रोजाना सामान्य, एसी और स्लीपर कोच की टिकट खरीदने पर औसतन 50 हजार रुपए की आय होती है।

कोरोना ने फिर दी दस्तक, अलर्ट मोड पर स्वास्थ्य विभाग  मेडिकल कालेज अस्पताल में चार बेड का आइसोलेशन वार्ड तैयार

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कोरबा@M4S:कोरोना संक्रमण ने एक बार फिर पैर पसारना शुरू कर दिया है। संक्रमण को देखते हुए मेडिकल कालेज अस्पताल में चार बेड का आइसोलेशन वार्ड बनाया गया है। कोरोना संक्रमण से घबराने की जरूरत नहीं है, बल्कि कोविड गाइडलाइन के तहत सावधानी बरतने की जरूरत है। प्रदेश में कोरोना संक्रमण के दस्तक के साथ ही जिले में स्वास्थ्य विभाग अलर्ट मोड पर है।
प्रदेश में कोरोना पांव पसारने लगा है। संक्रमित मरीजों की संख्या दो हो गई है। बढ़ते मरीजों की संख्या को देखते हुए जिला स्वास्थ्य विभाग ने भी तैयारी शुरू कर दी है। मेडिकल कॉलेज अस्पताल में चार बेड का आईसोलेशन वार्ड बनाया गया है। इसके अलावा ऑक्सीजन, वेंटिलेटर और जरूरी दवाईयों के उपलब्धता करने की कवायद शुरू कर दी है। यहां संक्रमित मरीज को भर्ती कर इलाज किया जाएगा। अभी तक जिले में कोरोना संक्रमित मरीज सामने नहीं आए हैं। लेकिन सावधानी बरतते हुए तैयारी की गई है। स्वास्थ्य विभाग का कहना है कि कोरोना संक्रमण को लेकर डरने या फिर घबराने की जरूरत नहीं है, बल्कि सावधानी बरतने की जरूरत है। भीड़-भाड़ वाले क्षेत्र में जाने से बचे और मास्क का उपयोग करें।
इसके अलावा समय-समय पर हाथ की सफाई करें। साथ ही शारीरिक दूरी बना कर रखें। ताकि संक्रमण के फैलने से बचा जा सके। जिले में कोरोना संक्रमण से संबंधित सर्दी, खांसी, बुखार सहित अन्य लक्षण वाले मरीजों का ट्रू नॉट से जांच की प्रक्रिया शुरू कर दी गई है। साथ ही लोगों से भी जांच कराने के लिए कहा जा रहा है।

कलेक्टर ने पीएचसी तुमान का किया निरीक्षण आमजनों को प्राथमिकता से स्वास्थ्य लाभ पहुंचाने के दिए निर्देश संस्थागत प्रसव को बढ़ावा देने और सफाई व्यवस्था बनाए रखने के निर्देश

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कोरबा@M4S:कलेक्टर अजीत वसंत ने आज विकासखंड पोड़ी उपरोड़ा के प्राथमिक स्वास्थ्य केन्द्र तुमान का निरीक्षण कर स्वास्थ्य सुविधाओं की जानकारी लेते हुए स्वास्थ्य सुविधाओं का विस्तार करने एवं स्वच्छता पर विशेष ध्यान देने के निर्देश दिए। उन्होंने केंद्र में स्वास्थ्य अधिकारी- कर्मचारियों की स्वीकृत, दर्ज एवं रिक्त पदों की जानकारी लेते हुए सभी स्वास्थ्य कर्मचारियों को समय पर केंद्र में उपस्थित रहकर मरीजों को स्वास्थ्य सेवाएं प्रदान करने के लिए कहा।
निरीक्षण के दौरान कलेक्टर ने तुमान के प्राथमिक स्वास्थ्य केन्द्र में ओपीडी, महिला एवं पुरूष वार्ड, प्रसव कक्ष, प्रयोगशाला, सहित पूरे परिसर का अवलोकन किया।

उन्होंने मरीजों की सुविधाओं का विशेष ख्याल रखने के निर्देश दिए। जिससे उन्हें किसी प्रकार की परेशानी न हो। कलेक्टर ने लोगों की सुविधा के लिए स्वास्थ्य केन्द्र में आवश्यक दवाइयों की उपलब्धता सुनिश्चित करने के निर्देश दिए। कलेक्टर ने केंद्र में होने वाले प्रसव की जानकारी लेते हुए संस्थागत प्रसव को बढ़ावा देने और शत प्रतिशत प्रसव सुरक्षित रूप से कराने के लिए कहा। इस हेतु मितानिनों, स्वास्थ्य कार्यकर्ताओं के माध्यम से ग्रामीणों को जागरूक करने की बात भी उन्होंने कही। कलेक्टर ने डीएमएफ से हुई नियुक्ति की जानकारी भी ली। इस दौरान जिला पंचायत अध्यक्ष डॉ पवन सिंह कँवर, एसडीएम पोड़ी उपरोड़ा  तुलाराम भारद्वाज आदि उपस्थित थे।

HEALTH TIPS:आंतों को अंदर से सड़ा देते हैं ये 6 फूड्स, गट हेल्थ सुधारने के लिए तुरंत कर दें डाइट से बाहर

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नई दिल्ली(एजेंसी):हमारी लाइफस्टाइल के साथ हमारी खाने-पीने की आदतों में भी काफी बदलाव आया है। अब हम हर काम जल्दी करना चाहते हैं। इसलिए खाने-पीने की भी वैसी ही चीजें (Worst Foods for Digestion) पसंद करते हैं, जो तुरंत मिल जाएं, जैसे- नूडल्स, चिप्स आदि। लेकिन यहीं चीजें हमारी आंतों को नुकसान पहुंचाती हैं और अक्सर लोगों का ध्यान भी इस ओर नहीं जाता है।
इसलिए हर साल वर्ल्ड डाइजेस्टिव हेल्थ डे (World Digestive Health Day 2025) मनाया जाता है, ताकि लोग पाचन से जुड़ी समस्याओं और उसे हेल्दी कैसे रखा जाए, इस बारे में जागरूक बनें। आइए डॉ. सौरभ सेठी से जानते हैं 6 ऐसे फूड्स (Avoid 6 Worst Foods for Gut Health) के बारे में, आपकी गट हेल्थ के लिए बिल्कुल हेल्दी नहीं हैं।
आंतों के लिए हानिकारक फूड्स (Worst Foods for Gut Health)
अल्ट्रा-प्रोसेस्ड फूड्स
अल्ट्रा-प्रोसेस्ड फूड्स, जैसे- पैक्ड स्नैक्स, इंस्टेंट नूडल्स, फ्रोजन मील और रेडी-टू-ईट फूड्स में प्रिजर्वेटिव्स, आर्टिफिशियल फ्लेवर और हानिकारक केमिकल्स होते हैं। ये आंतों में मौजूद गुड बैक्टीरिया को नुकसान पहुंचाते हैं, जिससे डाइजेशन कमजोर होता है और इंफ्लेमेशन यानी सूजन बढ़ती है।

व्हाइट ब्रेड और रिफाइंड आटा

व्हाइट ब्रेड, पास्ता और मैदा से बनी चीजें रिफाइंड कार्बोहाइड्रेट से भरपूर होती हैं, जिनमें फाइबर की मात्रा न के बराबर होती है। ये आंतों में जाकर जल्दी पच जाते हैं, लेकिन गट बैक्टीरिया के लिए नुकसानदायक होते हैं। इसकी जगह होल ग्रेन ब्रेड, ब्राउन राइस और ओट्स जैसे फाइबर से भरपूर फूड्स खाना ज्यादा फायदेमंद हो सकता है।

कार्बोनेटेड ड्रिंक्स और सोडा

सोडा और कार्बोनेटेड ड्रिंक्स में हाई फ्रुक्टोज कॉर्न सिरप और आर्टिफिशियल स्वीटनर होते हैं, जो आंतों के गुड बैक्टीरिया को कम करते हैं और हानिकारक बैक्टीरिया को बढ़ावा देते हैं। ये ड्रिंक्स पेट में गैस, ब्लोटिंग और एसिडिटी की समस्या पैदा करते हैं। इनकी जगह नारियल पानी, छाछ या नींबू पानी जैसे हेल्दी ड्रिंक्स चुनें।

तला-भुना और जंक फूड

तले हुई चीजें, जैसे- समोसे, पकौड़े, चिप्स और फ्रेंच फ्राइज में ट्रांस फैट होता है, जो आंतों की सेहत के लिए हानिकारक है। ये सभी चीजें काफी धीरे-धीरे पचती हैं और आंतों में सूजन पैदा कर सकती हैं।

रिफाइंड शुगर और आर्टिफिशियल स्वीटनर्स

चीनी, मिठाइयां, केक और पेस्ट्री जैसे रिफाइंड शुगर से बनी चीजें आंतों में हानिकारक बैक्टीरिया को बढ़ावा देते हैं। इससे इंसुलिन रेजिस्टेंस, मोटापा और लीकी गट सिंड्रोम जैसी समस्याएं हो सकती हैं। शुगर की जगह शहद, गुड़ या नेचुरल फ्रूट्स का इस्तेमाल करना ज्यादा बेहतर होगा।

ज्यादा मसालेदार खाना

ज्यादा मिर्च-मसाले वाला खाना पेट में जलन और एसिडिटी पैदा कर सकता है। इससे आंतों की परत को नुकसान पहुंचता है और डाइजेशन कमजोर होता है। मसालों का सही तरीके से इस्तेमाल करें, ताकि वे आपको फायदा पहुंचाएं, न कि नुकसान।

किसानों को मिलेगी अब फसलों की ज्यादा कीमत, धान समेत 14 फसलों की MSP में बढ़ोतरी; किसान क्रेडिट कार्ड पर कम ब्याज में मिलेगा लोन

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नई दिल्ली(एजेंसी): खरीफ की खेती शुरू होने से पहले सरकार ने किसानों के पक्ष में बड़ा फैसला लिया है। केंद्रीय कैबिनेट की बैठक में बुधवार को वर्ष 2025-26 के खरीफ सत्र के लिए 14 फसलों के न्यूनतम समर्थन मूल्य (एमएसपी) में बढ़ोतरी की गई। सामान्य किस्म के धान के एमएसपी को 69 रुपये बढ़ाकर 2,369 रुपये प्रति क्विंटल कर दिया गया है।
धान का एमएसपी 2,389 रुपये क्विंटल होगा
‘ए ग्रेड’ धान का एमएसपी 2,389 रुपये क्विंटल होगा। अन्य फसलों में मूंग, उड़द, कपास, मूंगफली, सूरजमुखी, ज्वार, बाजरा, रागी, मक्का, अरहर, सोयाबीन (पीला), तिल एवं रामतिल शामिल हैं। इन सभी फसलों का एमएसपी खेती में आने वाली लागत से कम से कम 50 प्रतिशत अधिक रखा गया है।
अश्विनी वैष्णव ने मीडिया को दी जानकारी
सरकार के इस फैसले से किसानों का उत्साह बढ़ेगा और वे उत्पादकता बढ़ाने के लिए प्रेरित होंगे। कैबिनेट की बैठक के बाद सूचना प्रसारण मंत्री अश्विनी वैष्णव ने मीडिया को बताया कि दलहन-तिलहन के एमएसपी में नौ प्रतिशत तक की बढ़ोतरी की गई है।
देश में सबसे ज्यादा मांग अरहर (तुअर) दाल की है

देश में दालों की भारी कमी को देखते हुए केंद्र सरकार ने इसके अधिक से अधिक उत्पादन के लिए किसानों को प्रेरित करने की योजना के तहत यह फैसला लिया है। देश में सबसे ज्यादा मांग अरहर (तुअर) दाल की है। घरेलू जरूरतों को पूरा करने के लिए प्रति वर्ष लाखों टन अरहर दाल का आयात करना पड़ता है। 

उत्पादन बढ़ाने के लिए अरहर के एमएसपी में 450 रुपये की वृद्धि करते हुए इसे 8,000 रुपये प्रति क्विंटल कर दिया गया है। इससे घरेलू उत्पादन बढ़ाने और आयात पर निर्भरता कम करने में मदद मिलेगी। वैसे भी सरकार ने दलहन में आत्मनिर्भर बनने के लिए अभियान भी चला रखा है। 

सरकार ने तिलहनों के एमएसपी में भी बड़ी वृद्धि की

सरकार ने तिलहनों के एमएसपी में भी बड़ी वृद्धि की है। रामतिल का एमएसएपी 820 रुपये बढ़ाकर 9,537 प्रति क्विंटल कर दिया गया है। वैष्णव ने बताया कि सरकार का जोर पोषण वाली फसलों पर भी है।

‘श्रीअन्न’ की खेती को भी बढ़ावा दिया जा रहा

हाल के वर्षों में दलहन, तिलहन और पोषणयुक्त ‘श्रीअन्न’ की खेती को भी बढ़ावा दिया जा रहा है। इनके एमएसपी में लगातार बढ़ोतरी की जा रही है। बाजरे की खेती पर आने वाली लागत पर 63 प्रतिशत एवं मक्का और अरहर पर 59 प्रतिशत बढ़ाकर किसानों को भुगतान किया जाएगा।

किसान क्रेडिट कार्ड पर जारी रहेगी ब्याज छूट

छोटे एवं सीमांत किसानों को बड़ी राहत देते हुए किसान क्रेडिट कार्ड (केसीसी) पर ब्याज छूट योजना को जारी रखने का निर्णय लिया गया है। यानी समय पर भुगतान करने वाले किसानों को सिर्फ चार प्रतिशत ब्याज पर तीन लाख रुपये तक का लोन मिलता रहेगा। इससे उनकी वित्तीय स्थिति मजबूत होने के साथ-साथ उत्पादन में भी वृद्धि होगी।

ग्रामीण ऋण प्रणाली को सशक्त बनाने पर जोर

वैष्णव ने बताया कि इस निर्णय से किसानों की आय बढ़ाने, ग्रामीण ऋण प्रणाली को सशक्त बनाने के साथ ही कृषि विकास को बढ़ावा देने में मदद मिलेगी। कृषि कार्य के लिए केसीसी पर तीन लाख रुपये तक कर्ज लेने पर सात प्रतिशत ब्याज का प्रविधान है। समय पर भुगतान करने पर तीन प्रतिशत की छूट किसानों को सीधे दी जाती है, जिससे प्रभावी ब्याज दर सिर्फ चार प्रतिशत रह जाती है। पशुपालन एवं मत्स्य पालन के लिए ऋणों पर यह लाभ दो लाख रुपये तक पर लागू होगा।

किस फसल का कितना एमएसपी बढ़ा
फसल नया एमएसपी वृद्धि लागत पर लाभ
धान (सामान्य) 2,369 69 50 फीसदी
ज्वार (हाइब्रिड) 3,699 328 50 फीसदी
बाजरा 2,775 150 63 फीसदी
रागी 4,886 596 50 फीसदी
मक्का 2,400 175 59 फीसदी
तूर 8,000 450 59 फीसदी
उड़द 7,800 400 53 फीसदी
मूंग 8,768 86 50 फीसदी
मूंगफली 7,263 480 50 फीसदी
सोयाबीन (पीला) 5,328 436 50 फीसदी
सूरजमुखी 7,721 441 50 फीसदी
तिल 9,846 579 50 फीसदी
रामतिल 9,537 820 50 फीसदी
कपास (मध्यम रेशा) 7,710 589 50 फीसदी

(एमएसपी प्रति क्विंटल रुपये में)

पोर्न साइट पर क्लिक किया तो नाबालिग को चार पुलिसकर्मियों ने किया ब्लैकमेल, एक्शन न लेने पर फाजिल्का SSP सस्पेंड

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चंडीगढ़(एजेंसी):भ्रष्ट कर्मचारियों पर समुचित कार्रवाई नहीं करने पर फाजिल्का के एसएसपी वरिंदर सिंह बराड़ (Fazilka SSP Suspended) को निलंबित कर दिया गया है। यह पहला अवसर है जब भ्रष्टाचारियों पर कड़ी कार्रवाई नहीं करने पर किसी एसएसपी पर निलंबन की गाज गिरी है।
उनकी जगह गुरमीत सिंह को फाजिल्का का एसएसपी नियुक्त किया गया है। एक किशोर की ओर से पोर्न साइट क्लिक करने पर टिपलाइन साइबर थाने पहुंची थी।मामला बेहद मामूली होने के बावजूद साइबर सेल के एसएचओ मंजीत सिंह व तीन कर्मचारियों हेड कॉन्स्टेबल राजपाल, हेड कॉन्स्टेबल शिंदर पाल और कॉन्स्टेबल सुमित कुमार ने किशोर के परिवार से एक लाख रुपये रिश्वत मांगी थी।

पीड़ित परिवार ने की थी शिकायत

पीड़ित परिवार ने इसकी शिकायत सीएम हेल्पलाइन नंबर पर की थी। इसके पश्चात विजिलेंस ने मंगलवार को चारों के खिलाफ केस दर्ज कर गिरफ्तार कर लिया था। अब राज्य सरकार ने मामले में एसएसपी पर भी कार्रवाई की है।

इससे पहले भ्रष्टाचार के मामले में विजिलेंस के प्रमुख एसपीएस परमार, श्री मुक्तसर साहिब के डीसी रहे आइएएस राजेश त्रिपाठी सहित दो अन्य पुलिस अधिकारियों को भी सस्पेंड किया गया था।

पीपीएस अधिकारी स्वर्णदीप सिंह व हरप्रीत सिंह मंडेर को आइपीएस परमार के साथ निलंबित किया गया था, लेकिन जांच के बाद दोनों पीपीएस अधिकारियों को फिर से उसी पद पर बहाल कर दिया गया।

2022 में भ्रष्टाचार को खत्म करने का वादा कर सत्ता में आई आम आदमी पार्टी (आप) के चार विधायकों को अब तक जेल की हवा खानी पड़ी है। तीन साल के कार्यकाल में तीन विधायकों को खुद सरकार ने ही पकड़ा।

विधायकों को ईडी ने पकड़ा

चौथे विधायक को केंद्रीय जांच एजेंसी ईडी ने पकड़ा। दो मंत्रियों को इंटरनेट मीडिया पर प्रसारित ऑडियो-वीडियो के बाद विवाद के कारण कुर्सी छोड़नी पड़ी। एक मंत्री को कोर्ट से क्लीन चिट मिल गई जिससे वह कुर्सी बचा पाए। 2022 में पूर्व सेहत मंत्री डॉ. विजय सिंगला के खिलाफ कार्रवाई हुई।

 

सिंगला हर काम और टेंडर में एक प्रतिशत कमिशन मांग रहे थे। बठिंडा ग्रामीण से विधायक अमित रतन कोटफत्ता को भ्रष्टाचार में गिरफ्तार किया गया। उन पर सरपंच से रिश्वत मांगने का आरोप था। जालंधर सेंट्रल सीट के विधायक रमन अरोड़ा को बीते दिनों भ्रष्टाचार के आरोप में गिरफ्तार किया गया।

 

विधायक जसवंत सिंह गज्जनमाजरा को ईडी ने 2023 में गिरफ्तार किया था। इससे पहले भी भ्रष्टाचार को लेकर विजिलेंस ब्यूरो आइएएस अधिकारियों, उनकी पत्नियों, पूर्व विधायकों और पूर्व मंत्रियों पर कार्रवाई कर चुका है।

मासिक धर्म स्वच्छता दिवस मासिक धर्म से जुड़ी भ्रांतियों, चुप्पियों और पर्यावरणीय चुनौतियों पर विचार करने का अवसर:अरुण साव

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सुरक्षित सेनेटरी अपशिष्ट प्रबंधन एवं मासिक धर्म स्वच्छता पर आयोजित कार्यशाला में शामिल हुए उप मुख्यमंत्री

विशेषज्ञों ने नगरीय निकायों के मास्टर ट्रेनर स्वच्छता दीदियों को सुरक्षित सेनेटरी अपशिष्ट प्रबंधन एवं मासिक धर्म स्वच्छता की दी जानकारी

रायपुर@M4S:उप मुख्यमंत्री तथा नगरीय प्रशासन एवं विकास मंत्री अरुण साव आज “शक्ति संवाद – स्वच्छता से सशक्तीकरण की ओर” विषय पर आयोजित कार्यशाला में शामिल हुए। नगरीय प्रशासन एवं विकास विभाग द्वारा मासिक धर्म स्वच्छता दिवस पर रायपुर के नवीन विश्राम भवन में आयोजित एक दिवसीय कार्यशाला में विशेषज्ञों ने नगरीय निकायों के मास्टर ट्रेनर स्वच्छता दीदियों को सुरक्षित सेनेटरी अपशिष्ट प्रबंधन एवं मासिक धर्म स्वच्छता के बारे में विस्तार से जानकारी दी। एमिटी यूनिवर्सिटी के वाइस चांसलर श्री पीयूष कांत भी कार्यशाला में शामिल हुए।

उप मुख्यमंत्री अरुण साव ने कार्यशाला में मास्टर ट्रेनर स्वच्छता दीदियों को संबोधित करते हुए कहा कि आप सभी को मास्टर ट्रेनर के रूप में यहां मिली जानकारी को राज्य के 10 हजार स्वच्छता दीदियों के साथ ही लाखों बहन-बेटियों तक पहुँचाना है, ताकि मासिक धर्म स्वच्छता विषय पर जो झिझक बहनों में है, उसे दूर किया जा सके। उन्होंने सेनेटरी नेपकिन के उपयोग के बाद उसके सही निपटान की प्रक्रिया को भी ध्यान में रखने को कहा। श्री साव ने कहा कि 28 मई को पूरी दुनिया में विश्व मासिक धर्म स्वच्छता दिवस के रूप में मनाया जाता है। यह न केवल महिलाओं के माहवारी स्वच्छता के अधिकार को उजागर करता है, बल्कि इस विषय से जुड़ी भ्रांतियों, चुप्पियों और पर्यावरणीय चुनौतियों पर विचार करने का अवसर भी प्रदान करता है।

उप मुख्यमंत्री श्री साव ने कहा कि मासिक धर्म स्वच्छता दिवस का उद्देश्य मासिक धर्म स्वच्छता प्रबंधन के महत्व के बारे में जागरूकता बढ़ाना तथा महिलाओं एवं लड़कियों को स्वच्छ व सुरक्षित माहौल प्रदान कर उनके अधिकारों की रक्षा करना है। स्वच्छ भारत अभियान के तहत निर्मित शौचालयों में स्वास्थ्य सुविधाओं में वृद्धि ने महिलाओं और बालिकाओं के बेहतर मासिक धर्म स्वच्छता प्रथाओं में योगदान दिया है। इस अभियान ने मासिक धर्म स्वच्छता प्रबंधन के बारे में जागरूकता बढ़ाने में भी महत्वपूर्ण भूमिका निभाई है।

राज्य शहरी विकास अभिकरण (SUDA) के सीईओ शशांक पाण्डेय ने कार्यशाला में कहा कि आज हम यहाँ एक अत्यंत महत्वपूर्ण विषय पर बात कर रहे हैं। आज का दिन न केवल महिलाओं के स्वास्थ्य और स्वच्छता से जुड़ा है, बल्कि समाज की सोच, जागरूकता और संवेदनशीलता से भी जुड़ा हुआ है। हर साल 28 मई को विश्व मासिक धर्म स्वच्छता दिवस मनाया जाता है, ताकि इस विषय पर खुलकर चर्चा हो और जागरूकता बढ़ाकर इससे जुड़ी भ्रांतियों, असहजता और चुप्पी को समाप्त किया जा सके। हमारे समाज में आज भी इस पर खुलकर बात नहीं की जाती।

श्री पाण्डेय ने बताया कि आज सुरक्षित सेनेटरी अपशिष्ट प्रबंधन एवं मासिक धर्म स्वच्छता पर विभाग द्वारा प्रथम कार्यशाला आयोजित की गई है। आगे सभी नगरीय निकायों में भी ऐसी कार्यशालाओं का आयोजन किया जाएगा। उन्होंने कहा कि स्वच्छता दीदियों को उनके स्वास्थ्य के विषय में जागरूक किया जाएगा, ताकि वे सुरक्षित वातावरण में कार्य करते हुए प्रदेश की 10 हजार स्वच्छता दीदियों को मार्गदर्शन प्रदान कर उन्हें प्रशिक्षित कर सके।

एम्स (AIIMS) के पूर्व निर्देशक पद्मश्री से सम्मानित डॉ. रणदीप गुलेरिया ने वीडियो कॉन्फ्रेंस के माध्यम से कार्यशाला में मौजूद स्वच्छता दीदियों को माहवारी स्वच्छता के बारे में जानकारी दी। एमिटी यूनिवर्सिटी की डॉ. आकांक्षा सिंह ने मासिक धर्म स्वच्छता विषय पर प्रस्तुतिकरण के माध्यम से स्वच्छता दीदियों को सेनेटरी पैड के निपटान और मासिक धर्म के दौरान जरूरी सावधानियों से अवगत कराया। यूनिसेफ के वॉश (Wash) विशेषज्ञ श्री आशीष कुमार ने निजी स्वच्छता पर प्रस्तुतिकरण दिया।

कार्यशाला में राज्य के एसएलआरएम सेंटर में कार्यरत स्वच्छता दीदियों को घरेलू हानिकारक अपशिष्टों के व्यवस्थित निपटान एवं एसएलआरएम सेंटर के जोखिम रहित संचालन के लिए प्रस्तुतिकरण दिया गया। डॉ. सबापथी एस. ने मासिक धर्म स्वच्छता संबंधित स्टार्ट-अप, ‘समर्थन’ संस्था की श्रीमती ऋतु वर्मा और श्री देवीदास ने मासिक धर्म स्वच्छता एवं निजी स्वच्छता पर प्रस्तुतीकरण दिया। सूडा के अतिरिक्त कार्यपालन अधिकारी श्री दुष्यंत कुमार रायस्त सहित नगरीय प्रशासन विभाग एवं सूडा के अधिकारी भी कार्यशाला में मौजूद थे।

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