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भारत एल्यूमिनियम कंपनी लिमिटेड (बालको) और नाबार्ड की वाटरशेड परियोजना के अंतर्गत सोनगुढ़ा के नागरिकों ने गांव का भूजल स्तर बढ़ाने किया श्रमदान।
कोरबा@M4S:गरमी की शुरूआत के साथ ही पेयजल संकट विभिन्न क्षेत्रों के नागरिक महसूस करने लगे हैं। कई स्थानों पर तालाब सूख गए हैं तो कहीं कुंओं में जलस्तर कम होने लगा है। गिरते भू-जल स्तर को थामने की दिशा में ग्राम सोनगुढ़ा के नागरिकों ने एकजुटता का परिचय दिया है। अपने श्रमदान से ग्रामीणजन गांव के तालाब को गहरा बनाने और उसके किनारों को मजबूती देने में जुट गए हैं।
ग्रामीणों के प्रयासों को सहारा देने की पहल भारत एल्यूमिनियम कंपनी लिमिटेड (बालको) और नाबार्ड ने की है। बालको और नाबार्ड के अधिकारियों ने ग्राम सोनगुढ़ा पहुंचकर ग्रामीणों के तालाब गहरीकरण के प्रयासों को देखा। अवलोकन दल में नाबार्ड के सह महाप्रबंधक डी.पी. मिश्रा, जिला अधिकारी व्ही.जी. चांदेकर, बालको के कंपनी संवाद प्रबंधक प्राणनाथ मिश्रा, सामुदायिक विकास सहायक प्रबंधक श्री राजकृष्ण त्रिवेदी और विवेक सिंह मौजूद थे। गांव में आयोजित कार्यक्रम में श्री मिश्रा ने ग्रामीणों को तालाब की जलधारण क्षमता बढ़ाने के लिए लूज-बोल्ट स्ट्रक्चर बनाने का सुझाव दिया। उन्होंने कहा कि पानी से ही जीवन और खुशहाली है। उन्होंने ग्रामीणों से कहा कि वे अपनी एकजुटता को बनाए रखें। श्री चांदेकर ने तालाब गहरीकरण की दिशा में ग्रामीणों के प्रयासों को प्रशंसनीय बताया। उन्होंने बताया कि सोनगुढ़ा के नागरिक परियोजना अनुमोदन की प्राथमिक प्रक्रिया में खरे उतरे हैं।
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बालको के प्राणनाथ मिश्रा ने कहा कि वाटरशेड परियोजना का उद्देश्य नागरिकों की जल संबंधी समस्या को समाप्त करना है। श्री मिश्रा ने कहा कि वे नाबार्ड के विशेषज्ञों की सलाह पर अमल करें। इससे तालाब में अधिक समय तक पानी रोका जा सकेगा। भूजल स्तर बढ़ाने में भी मदद मिलेगी। इस अवसर पर सोनगुढ़ा सरपंच कृष्णा बाई कंवर, उप सरपंच श्री अनूप सिंह और सरपंच प्रतिनिधि मान सिंह मौजूद थे।
सरपंच प्रतिनिधि मानसिंह ने बताया कि उन्होंनेे बालको और नाबार्ड द्वारा परसाखोला और भटगांव में संचालित वाटरशेड परियोजना के सकारात्मक प्रभावों को देखा है। परियोजना से इन गांवो का भू-जल स्तर बढ़ा है। कुंओं में पहले से अधिक पानी रहता है। इस अवसर पर स्वयंसेवी संगठन ‘स्त्रोत’ के अध्यक्ष श्री डिक्सन मसीह, परियोजना समन्वयक श्री सत्यप्रकाश जायसवाल सहित अनेक कार्यकर्ता मौजूद थे।