कोरबा@M4S:कोरबा नगर निगम द्वारा पानी का बिल हर माह देने के बजाय 6 या 7 माह के अंतराल में उपभोक्ताओं को देने से उन्हे पानी के लिये अधिक एवं अतिरिक्त राशि नगर निगम को अदा करना पड़ रहा है और इस तरह नगर निगम आम नागरिकों के जेब में डाका डाल रही है। मार्क्सवादी कम्युनिस्ट पार्टी के पार्षद श्रुति कुलदीप के नेतृत्व में जनवादी महिला समिति एवं वार्ड वासियो के साथ नगर निगम के सर्वमंगला जोन के सामने प्रदर्शन के साथ आयुक्त के नाम आमजनों के हस्ताक्षर युक्त ज्ञापन सौपी गयी ।
गौर तलब है मार्क्सवादी कम्युनिस्ट पार्टी ने मार्च महीने में ही पानी बिल को गलत बताते हुए इसे सुधार करने और गरीबो को मुफ्त देने की मांग किया था । माकपा नेत्री सुरती कुलदीप ने भी निगम के एमआईसी में प्रस्ताव रखा था किंतु आज तक कोई कार्यवाही नही किया जा रहा है । इस तरह 6 या 7 माह के पानी का बिल उपभोक्ताओं को देने के कारण उनका 6 या 7 माह का कुल खपत को एकमुश्त जोड़ दिया जा रहा हैं।जबकि पानी का दर अलग अलग स्लाब के लिए अलग अलग दर निर्धारित है।
10 हजार लीटर तक प्रति एक हजार लीटर 5 रूपये ,10हजार लीटर से 15 हजार लीटर तक प्रति लीटर 6 रूपये, 15 हजार लीटर से 25 हजार लीटर तक 7 रूपये, 25 हजार से 50 हजार लीटर तक 8 रपये और 50 हजार लीटर से अधिक 9 रूपये का दर निर्धारित किया गया है । कोई उपभोक्ता अगर माह मे 10हजार लीटर पानी खपत करता है तो उस उपभोक्ता का पानी का बिल 5 रूपये की दर से 50 रूपये बिल आयेगा। लेकिन अगर 6 माह का बिल एकमुश्त दिया जाता है तो उस उपभोक्ता के कुल खपत 60हजार लीटर होता है और 60हजार लीटर का दर 9 रूपये की दर से 540रूपये भुगतान करना पड़ रहा हैं। यानि प्रति माह बिल आने से जिस उपभोक्ता को प्रति माह 50 रूपये देना पड़ता वही 6 माह में बिल आने के कारण उन्हे औसतन प्रति माह 90 रूपये अदा करना पड़ रहा है नगरनिगम पर पानी बिल पर घोटाला का आरोप लगाते हुये कहा नगरनिगम इस तरह चालाकी पूर्ण तरीके से जनता के जेब में उस समय डाका डाल रही जब महामारी के कारण आम जनता के आर्थिक स्थिति दयनीय है।एकमुश्त इतने राशि जमा करना आर्थिक रूप से कमजोर तबको के लिए असंभव है। इसी तरह से साफ सफाई की अपनी जिम्मेदारी को भी नगर निगम प्रशासन आम जनो के जेब हल्का कर पूरा कर रही है कचरा कलेक्शन के लिए प्रति घर 60 रुपये लिया जा रहा है । मतलब हर कामो के बदले जनता से उगाही के कारण गरीब जन की आर्थिक स्थिति खराब हो रही है । ज्ञापन में मांग में नगर निगम से मांग किया है कि प्रति माह पानी का बिल उपभोक्ताओं को दिया जाये, पूर्व के सभी बिलो को प्रति माह औसत खपत के हिसाब से बिल बनाकर पैसा वसूली की जाये। जिन उपभोक्ताओं ने बिल की राशि भुगतान कर दिये है उनसे जो अतिरिक्त पैसा वसूल किया वह पैसा आगामी बिलो के साथ समाहित किया जाये। कचरा कलकेशन के लिए शुल्क बन्द किया जाए ।
पानी के मीटर में खराबी
भागीरथी नल जल योजना के तहत नगर निगम द्वारा घरों में सप्लाई के लिए लगाए गए नल के मीटर में खराबी की शिकायत भी है । 1000 लीटर पर 1 यूनिट की गणना की जाती है पर 700- 800 लीटर में ही 1एक यूनिट का कांटा घूम रहा है जिसकी जांचकर सुधार करने की जरूरत है । कनेक्शन होने के शुरुआती दिनों में और अभी भी कई दिनों गन्दा पानी की सप्लाई हो रही है जिसके कारण साफ पानी आने के इंतजार में नल को खुला छोड़ना पड़ता है जिससे अधिक खपत हो रहा है । इसको भी उपभोक्ताओं के ऊपर थोपा जा रहा है ।
नगर निगम कार्यलय में प्रदर्शन के दौरान मुख्य रूप से माकपा के राज्य समिति सदस्य सपूरन कुलदीप,अखिल भारतीय जनवादी महिला समिति के श्रीमति धनबाई, बबली साहू, धनिता कुलदीप,भारती बरेठ, श्याम बाई, कमता बाई, राजकुमारी , चैन कुंवर, दुकाला बाई, नंदनी राजपूत, राम बाई, फूल बाई, गीता महंत, तीज कुंवर, चित्ररेखा, पांचो बाई, क्रांति बरेठ, तिलवा बाई,मनटोरा बाई, रानी महंत, कविता महंत, रिया गुप्ता, खुशबू साहू, कलेसीन बाई, उर्मिला साहू, संतोषी कुलदीप, तुलसी बाई, धन बाई कंवर, गेंदा बाई कंवर, तुल बाई, राम बाई किसान सभा के प्रताप दास, सीटू के जनक दास कुलदीप , सतीश चन्द्रा , दूजे पैगवार , जिनी, यशवंत साहू, अमर दास, कमल प्रकाश, योगेंद्र दास, तरुण जायसवाल, वसीम, देवेंद्र महंत, लकेश्वर यादव, राकेश चन्द्रा, भुनेश्वर कर्ष, नीतीश चन्द्रा, सुप्रकाश , मंगतू दास, राजकुमार, सुंदर दास,आकाश दास, आशीष दास, सतीश चौहान,
लव प्रकाश समाजसेवी अजयसिंह ठाकुर , भुविस्थापित नेता गजेंद्र ठाकुर राहुल बंजारे , आदि शामिल थे।