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हाथी ने चार दिनों के भीतर तीन लोगों को उतारा मौत के घाट
हाथियों के आतंक से थर्राया कुदमुरा वन परिक्षेत्र
कोरबा@M4S: कोरबा वन मंडल के कुदमुरा वन परिक्षेत्र में हाथियों का आतंक थमने का नाम नहीं ले रहा है। एक के बाद एक ग्रामीणों की जान हाथियों के कुचलने से जा रही है। पिछले चार दिनों के भीतर हाथियों ने तीन लोगों को कुचल कर मार डाला। क्षेत्र में हाथियों के आतंक को लेकर ग्रामीण दहशत में हैं। वन अमला हाथियों को खदेडऩे में सफल नहीं हो रहा है। तेंदूपत्ता तोडऩे जंगल जा रहे ग्रामीण गजराजों का शिकार बन रहे हैं। कुदमुरा वन परिक्षेत्र अंतर्गत ग्राम चिर्रा निवासी बलदेव राठिया नामक ग्रामीण स्थानीय जंगल में तेंदूपत्ता तोडऩे गया हुआ था। जिस पर एक दंतैल ने हमला कर दिया। हाथी ने बलदेव राठिया को कुचलकर मौत की नींद सुला दी। घटना की जानकारी मिलते ही ग्रामीणों ने इसकी सूचना वन विभाग व करतला पुलिस का दी। वन विभाग के अधिकारी व करतला पुलिस मौके पर पहुंचे और विवेचना शुरू की। उल्लेखनीय है कि क्षेत्र में हाथियों का आतंक थमता नजर नहीं आ रहा है। चार दिन पूर्व हाथियों ने कुदमुरा रेंज के कलमी टिकरा में फगनी बाई नामक महिला को पटक-पटक कर मार डाला था। इस घटना को एक दिन बिते थे कि 15 मई को पुन: श्यांग जंगल में तेंदूपत्ता तोडऩे गए ग्राम गुरमा निवासी रामसाय मंझवार 45 वर्ष को हाथियों ने कुचल दिया। आज पुन: क्षेत्र में तीसरी घटना को अंजाम देते हुए हाथियों ने ग्रामीण बलदेव राठिया को मौत की नींद सुला दी। हाथियों के लगातार हमले को लेकर ग्रामीण सहमे हुए हैं। कुदमुरा रेंज के गांवों में लोग अब जंगल की ओर जाने में कतराने लगे हैं।
हरा सोना ले रहा जान
वन्य परिक्षेत्रों मेंं इन दिनों तेंदूपत्ता संग्रहण का कार्य चल रहा है। तेंदूपत्ता यानी हरा सोना तोडऩे के लिए ग्रामीण जंगल जा रहे हैं। यहां ग्रामीण हाथियों का आसान शिकार बन रहे हैं। जंगल के बीच जाकर तेंदूपत्ता तोडऩे वाले ग्रामीणों को हाथी कुचलकर मार डाल रहा है। लगातार हो रही घटनाओं के बाद अब लोग तेंदूपत्ता संग्रहण के लिए जंगल जाने में भी डरने लगे हैं। जिसके कारण तेंदूपत्ता संग्रहण में इसका असर देखने को मिला है। हाथियों की दहशत के बीच गिनती के ग्रामीण ही तेंदूपत्ता तोडऩे जंगल पहुंच रहे हैं।
हाथियों को खदेड़ नहीं पा रहा विभाग
कुदमुरा वन परिक्षेत्र से हाथियों को खदेडऩे में वन अमला सफल नहीं हो रहा है। यहां तक कि वन विभाग हाथियों का लोकेशन ट्रैक तक नहीं कर पा रहा है। कुछ हाथी जहां पाली वन परिक्षेत्र से होते हुए बिलासपुर जिला के रतनपुर जंगल में डेरा डाले हुए हैं, वहीं हाथियों के एक दल के कटघोरा वन परिक्षेत्र में विचरण किए जाने की सूचना मिल रही है। वहीं करतला वन परिक्षेत्र में हाथी आतंक मचाते हुए एक के बाद एक ग्रामीणों को कुचल रहा है।
गांवों में फैला सन्नाटा
हाथियों ने ग्राम कलमी टिकरा की फगनी बाई, ग्राम गुरमा के रामसाय मंझवार व ग्राम चिर्रा के ग्रामीण बलदेव राठिया को कुचला है। इन गांवों में ग्रामीणों के चेहरे पर हाथियों का आतंक साफ देखा जा सकता है। इन घटनाओं के बाद उक्त गांवों में सन्नाटा पसरा हुआ है। इन गांवों के अलावा आसपास के ग्रामों में भी लोग हाथियों के दहशत के बीच रहने को मजबूर हैं।