कोरबा@M4S: वेदांता समूह की कंपनी भारत एल्यूमिनियम कंपनी लिमिटेड (बालको) की सिक्योरिटी टीम को उत्कृष्ट कार्यों के लिए कोरबा के पुलिस अधीक्षक श्री अभिषेक मीणा ने सम्मानित किया। बालकोनगर थाना परिसर में वरिष्ठ पुलिस अधिकारियों की उपस्थिति में आयोजित सम्मान समारोह में बालको टीम को प्रशस्ति पत्र और स्मृति चिह्न भेंट किए गए। बालको के प्रशासन एवं सिक्योरिटी प्रमुख श्री अवतार सिंह की अगुवाई में बालको टीम ने सम्मान ग्रहण किया। अभिषेक मीणा ने अपने उद्बोधन में बालको सिक्योरिटी टीम की प्रशंसा की। उन्होंने कहा कि बालकोनगर क्षेत्र में कानून व्यवस्था बनाए रखने में बालको की सिक्योरिटी टीम का प्रशंसनीय योगदान है।
देश की अग्रणी और छत्तीसगढ़ की एकमात्र एल्यूमिनियम उत्पादक कंपनी बालको ने सिक्योरिटी प्रणालियों की मजबूती की दिशा में डिजिटलाइजेशन की पहल की है। जिला प्रशासन के समन्वयन में बालको सिक्योरिटी टीम के उत्कृष्ट प्रबंधन का ही परिणाम है कि बालकोनगर के नागरिक स्वयं को सुरक्षित महसूस करते हैं।
बालको के मुख्य कार्यकारी अधिकारी एवं निदेशक अभिजीत पति ने कहा कि बालको में कार्यरत कर्मचारियो, उनके परिवारजनों और परिसंपत्तियों की सुरक्षा बालको प्रबंधन के लिए महत्वपूर्ण है। बालको उन अग्रणी कंपनियों में शामिल है जिसने अपनी सुरक्षा व्यवस्था को पुख्ता बनाने के लिए डिजिटल और स्मार्ट तकनीकों को लागू किया। जिला प्रशासन के मार्गदर्शन में बालकोनगर और आसपास के क्षेत्रों में बालको सुरक्षा को मजबूती देने में योगदान दे रहा है। श्री पति ने पुलिस अधिकारियों और कर्मचारियों को उनकी सेवा भावना और लोगों की मदद करने की प्रतिबद्धता की प्रशंसा की। उन्होंने यह भी कहा कि कोरोना के वर्तमान चुनौतीपूर्ण समय में महामारी की रोकथाम के लिए पुलिस अधिकारियों और कर्मचारियों ने उत्कृष्ट योगदान दिया।
सिक्योरिटी प्रबंधन की दिशा में बालको ने महत्वपूर्ण नवाचार करते हुए अत्याधुनिक सेंट्रलाइज्ड सिक्योरिटी ऑपरेशंस सेंटर (सी.एस.ओ.सी.) की स्थापना की है। इसका उद्देश्य बालको के प्रचालन, कार्यरत कर्मचारियों और परिसंपत्तियों की सुरक्षा को मजबूती देना है। सिक्योरिटी ऑटोमेशन के जरिए विभिन्न कार्य क्षेत्रों में बालको का संचार और सुरक्षा प्रबंधन उत्तरोत्तर प्रगति की ओर है। संचार और सुरक्षा के क्षेत्र में अपनाई गई बालको की तकनीकें मिसाल हैं। इन स्मार्ट तकनीकों ने कोविड-19 के कारण उत्पन्न परिस्थितियों मंे कर्मचारियों तक प्रभावी संवाद स्थापित करने और उन्हें कोविड-19 संबंधी अनेक प्रोटोकॉल की जानकारी निरंतर मुहैया कराने की दिशा में अपना महत्व साबित किया है।
सी.एस.ओ.सी के जरिए घटनाओं की छानबीन के लिए आधुनिक सिक्योरिटी एनालिटिक्स, कार्यस्थल पर तैनात सिक्योरिटी संसाधनों के बीच प्रभावी तालमेल और रणनीतिक सूचनाओं के एकत्रण को प्रभावी बनाया गया है। डिजिटल इंटेलिजेंस और डाटा इनसाइट के जरिए सिक्योरिटी के अलावा यातायात सुरक्षा और आपूर्ति श्रृंखला की सुरक्षा प्रक्रियाओं के साथ ही निर्णयन की प्रक्रिया बेहतर हुई है। संयंत्र और टाउनशिप की सुरक्षा, अनेक राहत कार्यों को संचालित करने, संयंत्र में कर्मचारियों व कामगारों की आवाजाही पर नजर रखने, दूसरे राज्यों अथवा अन्य जिलों से आने वाले कर्मचारियों की ट्रैकिंग, कर्मचारियों तक निरंतर अपडेटेड जानकारी मुहैया कराने, किसी भी परिस्थिति में उनकी मदद करने, कोविड-19 से निपटने में जिला प्रशासन का सहयोग और उसके साथ तालमेल की दिशा में आपातकालीन नियंत्रण एवं कमान केंद्र के रूप में काम करने में सी.एस.ओ.सी. की मदद मिल रही है। मानवरहित परिधि दीवार, आंतरिक स्टेटिक सिक्योरिटी पोस्ट और सिक्योरिटी पेट्रोलिंग को सी.एस.ओ.सी. के माध्यम से नया स्वरूप दिया गया है।
महिला कर्मचारियों और बालको टाउनशिप में रहने वाले परिवारजनों की सुरक्षा के लिए निर्भया एप विकसित किया गया है। निर्भया एप जी.पी.एस. तकनीक का इस्तेमाल करता है। इसके जरिए आपातकालीन एवं असुरक्षित परिस्थितियों में एस.एम.एस. किया जा सकता है जिससे सेंटर तक एप के उपयोगकर्ता की लोकेशन पहुंच जाती है। इसके आधार पर उन्हें तत्काल मदद पहुंचाई जा सकती है। कोयले का परिवहन करने वाले वाहनों की जी.पी.एस. ट्रैकिंग के साथ ही उन बसों की ट्रैकिंग सी.एस.ओ.सी. के जरिए संभव है जो टाउनशिप से विभिन्न स्कूलों तक बच्चों को छोड़ने और वापस लाने का काम करते हैं। प्रचालन के क्षेत्र में कृत्रिम इंटेलीजेंस क्रियान्वित है जिससे भविष्य में उत्पादन और उत्पादकता बढ़ाने में मदद मिलेगी।