नई दिल्ली: पीएम नरेंद्र मोदी ने देशवासियों से ‘मन की बात’ की। ‘मन की बात’ कार्यक्रम के ये 95वें संस्करण में पीएम ने कहा कि ड्रोन के क्षेत्र में भी भारत तेजी से आगे बढ़ रहा है। कुछ दिनों पहले हमने देखा कि कैसे हिमाचल प्रदेश के किन्नौर में ड्रोन के जरिए सेब भेजे गए।
– आप कल्पना कर सकते हैं जो बच्चे कभी हाथ से कागज का हवाई जहाज बनाकर उड़ाया करते थे, उन्हें अब भारत में ही हवाई जहाज बनाने का मौका मिल रहा है।
– G20 की अध्यक्षता, हमारे लिए एक बड़ा अवसर बनकर आया है। हमें इस मौके का पूरा उपयोग करते हुए विश्व कल्याण पर फोकस करना है।
– भारत के लिए, हर भारतवासी के लिए, ये कितना बड़ा अवसर आया है। ये इसलिए भी विेशेष हो जाता है, क्योंकि ये जिम्मेदारी भारत को आजादी के अमृतकाल में मिली है।
– G-20 की दुनिया की आबादी में दो-तिहाई, विश्व व्यापार में तीन-चौथाई, और विश्व जीडीपी में 85% भागीदारी है। आप कल्पना कर सकते हैं- भारत अब से 3 दिन बाद यानी 1 दिसंबर से इतने बड़े समूह की इतने सामर्थ्यवान समूह की, अध्यक्षता करने जा रहा है।
– आज हरिप्रसाद गारू जैसे अनेकों लोगों ने मुझे चिट्ठी भेजकर ये लिखा है कि देश को इतने बड़े summit की मेजबानी मिलने से उनका सीना चौड़ा हो गया है |”
– कुछ दिन पहले ही मुझे G-20 लोगो और भारत की Presidency की website को launch करने का सौभाग्य मिला था | इस लोगो का चुनाव एक सार्वजनिक प्रतियोगिता के जरिए हुआ था। जब मुझे हरिप्रसाद गारू द्वारा भेजा गया ये उपहार मिला, तो मेरे मन में एक और विचार उठा। तेलंगाना के किसी जिले में बैठा व्यक्ति भी G-20 जैसी समिट से खुद को कितना जुड़ाव महसूस कर सकता है, ये देखकर मुझे बहुत अच्छा लगा।
– मोदी ने कहा कि हरिप्रसाद जी ने जी-20 के लोगो के साथ ही मुझे चिट्ठी भेजी है। इसमें उन्होंने लिखा है कि अगले साल इस सम्मेलन की मेजबानी करना भारत के लिए गौरव की बात है। देश की इस उपलब्धि की खुशी में उन्होंने लोगो अपने हाथों से तैयार किया है। बुनाई की ये प्रतिभा उन्हें अपने पिता से विरासत में मिली है।
– हम बहुत तेजी से मन की बात के शतक की तरफ बढ़ रहे हैं। ये कार्यक्रम मेरे लिए 130 करोड़ देशवासियों से जुड़ने का माध्यम है।
– साथियों आज के कार्यक्रम की शुरुआत मैं एक अनूठे उपहार की चर्चा के साथ करना चाहता हूं। तेलंगाना के राजन्ना सिर्सिल्ला जिले में एक बुनकर भाई हैं – येल्धी हरिप्रसाद गारू। उन्होंने मुझे अपने हाथों से G-20 का यह लोगो बुन करके भेजा है। ये शानदार उपहार देखकर मैं हैरान रह गया।