नई दिल्ली(एजेंसी):जब हम इंटरनेट की बात करते हैं तो सबसे पहले दिमाग में वेब का विचार आता है। मगर क्या आपने कभी सोचा है कि वेब की शुरुआत कैसे हुई और किसने की। बेव (WWW) की नींव टिम बर्नर्स-ली ने डाली थी।सर टिम बर्नर्स-ली ब्रिटिश कंप्यूटर वैज्ञानिक थे, जिन्होंने वर्ल्ड वाइड वेब का आविष्कार किया। उन्होंने इस बात पर गहरा प्रभाव डाला है कि हम कैसे संवाद करते हैं और सूचना तक कैसे पहुंचते हैं।1989 में, CERN में काम करते हुए बर्नर्स-ली ने रिसर्च के लिए सूचना साझा करने के बेहतर तरीके की जरूरत क महसूस किया। इसके बाद उन्होंने हाइपरटेक्स्ट पर आधारित सूचना प्रबंधन प्रणाली (Information Management System) के प्रस्ताव के साथ वर्ल्ड वाइड वेब की नींव रखी, जिसके बाद 1991 में वेब का जन्म हुआ।
बर्नर्स-ली से जुड़ी खास बातें
बर्नर्स-ली का जन्म 8 जून 1955 को हुआ था, यानी कि अब इनकी उम्र 69 साल हो गई है। ली अभी भी वेब की स्थिति को बेहतर करने के लिए लगातार प्रयासरत रहते हैं।
- जन्म: 8 जून, 1955, लंदन
- शिक्षा: ऑक्सफोर्ड विश्वविद्यालय से भौतिकी की डिग्री
- आविष्कार: वर्ल्ड वाइड वेब (1989)
बर्नर्स-ली की मुख्य उपलब्धियां
- वर्ल्ड वाइड वेब कंसोर्टियम (W3C) बनाया
- वेब को खुला और रॉयल्टी-मुक्त बनाया
- वर्ल्ड वाइड वेब फाउंडेशन की शुरुआत की
- ओपन डेटा इंस्टीट्यूट की सह-स्थापना की
- नवाचार और वकालत की विरासत
वेब 3.0: वेब के भविष्य की सुरक्षा
- अपने आविष्कार पर गर्व करते हुए बर्नर्स-ली वेब की वर्तमान स्थिति के बारे में चिंतित हैं। उन्हें बड़ी तकनीकी कंपनियों की शक्ति और गलत सूचना के प्रसार की चिंता है।
- बर्नर्स-ली संभावित खतरों से वेब की सुरक्षा में सक्रिय रूप से शामिल हैं। वह वेब 3.0 के माध्यम से ‘मिड कोर्स करेक्शन’ की वकालत करते हैं।
- यह एक ऐसी अवधारणा है, जो अधिक विकेन्द्रीकृत और तटस्थ इंटरनेट को बढ़ावा देती है।
सर टिम बर्नर्स-ली के आविष्कार ने हमारे जुड़ने और जानकारी को इस्तेमाल करने के तरीके को बदल दिया। अब, वह यह सुनिश्चित करने के लिए संघर्ष कर रहे हैं कि वेब सभी के लिए सुलभ, अच्छाई की ताकत बनी रहे।