चलती ट्रेन में महिला पर्स लूट का शिकार, नहीं लिखी रिपोर्ट

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रिपोर्ट लिखाने आधी रात तक बैठी रही आर पी एफ थाना में
कोरबा@M4S:दक्षिण पूर्व मध्य रेलवे बिलासपुर जोन की ट्रेन में सफर करना यात्रियों के लिए अब सुरक्षित नहीं रह गया। ट्रेन से यात्रियों के दस्तावेज चोरी होने, यात्रियों का मोबाइल, पर्स लूटकर चलती ट्रेन से कूदने की घटना के बाद अब एक और महिला लूट का शिकार हुई है। दुर्भाग्यजनक यह है कि अकेली महिला मासूम बच्चे के साथ घटना की रिपोर्ट लिखाने आधी रात तक आर पी एफ थाना में बैठी रही किन्तु उसकी रिपोर्ट नहीं लिखी गई।
एक ओर जहां देश में महिलाओं की सुरक्षा, सशक्तिकरण, आत्मनिर्भरता जैसी बातों पर जोर दे रहे हैं तो दूसरी ओर रेलवे का सुरक्षा महकमा अपने यात्री महिलाओं की सुरक्षा के प्रति संजीदा नहीं है। कोरबा के यात्री बीते एक महीने के दरम्यान चोरी व लूट का शिकार हो चुके हैं। पन्द्रह ब्लॉक-पंप हाऊस निवासी रूपेन्द्र साहू की अंकसूची सहित समस्त दस्तावेज ट्रेन से चोरी हो गए तो वहीं भाजपा मीडिया प्रकोष्ठ के फिरोज व उनकी पत्नी लूट का शिकार हुईं। इन मामलों में आज तक रेलवे पुलिस चोर-लुटेरों को पकड़ नहीं सकी है। एक और घटना रायपुर-गेवरा रोड पैसेंजर में हुई जब आईटीआई रामपुर निवासी कांति पांडेय अपनी 7 साल की बेटी के साथ कोरबा लौट रही थी। ट्रेन मड़वारानी स्टेशन से जैसे ही रवाना हुई, एक युवक तेज़ी से आया और पर्सनुमा बैग को लूट कर चलती ट्रेन से छलांग लगा दी। अन्य यात्रियों की मदद से चौन पुलिंग कर ट्रेन को रोका गया लेकिन तब तक लुटेरा जंगल की ओर भाग निकला। पीड़िता ने बताया कि बैग में कुछ रुपये, मोबाईल एवं एटीएम कार्ड सहित लगभग दस हजार का सामान था। कांति पाण्डे ने सिस्टम पर सवाल उठाते हुए कहा कि रात के समय महिलाएं अकेली भी सफर करती हैं लेकिन रेलवे द्वारा सुरक्षा का कोई प्रबंध नहीं किया जाना अत्यंत चिंताजनक है। रेलवे सुरक्षा के मामले में कांति पाण्डेय का कड़ुवा अनुभव रहा कि वह कोरबा जीआरपी में रात 12 बजे तक रिपोर्ट लिखाने बैठी रही लेकिन रिपोर्ट नहीं लिखी गई। उसे चांपा जीआरपी थाना जाने की सलाह दी गई लेकिन वहां से भी बैरंग लौटना पड़ा।

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