कोरबा@M4S:मार्क्सवादी कम्युनिस्ट पार्टी के केंद्रीय कमेटी के आह्वान पर देशव्यापी विरोध दिवस 20-26 अगस्त तक पूरे देश में गांव तहसील जिला स्तर पर विरोध प्रदर्शन आयोजित किया जा रहा है आज भैरोताल में माकपा पार्षद सुरती कुलदीप ,जनवादी महिला समिति राज्य संयोजक धन बाईं कुलदीप सीटू नेता जनक दास कुलदीप प्रताप दास महंत तिलवा साहू,बबली साहू दुकाला कंवर के नेतृत्व में प्रदर्शन किया गया जिसमें बड़ी संख्या में किसान मजदुर शामिल हुए।
आंदोलन की 16 सूत्रीय मांगे :
1. आय कर दायरे के बाहर के सभी परिवारों को आगामी 6 माह तक 7500 रूयों की नगद आर्थिक सहायता दो.
2. सभी जरूरतमंदों को आगामी 6 माह तक प्रति व्यक्ति 10 किलो खाद्यान्न वितरित करो.
3. बढ़ी हुई मजदूरी पर मनरेगा में साल में कम-से-कम 200 दिनों का काम दो. शहरी रोजगार गारंटी योजना लागू करो. सभी बेरोजगारों को बेरोजगारी भत्ता दो.
4. अंतर्राज्यीय प्रवासी मजदूर कानून, 1979 (रोजगार और सेवा शर्तों का नियमन कानून) को ख़त्म करने का प्रस्ताव वापस लो और इस कानून को और मजबूत बनाओ.
5. सार्वजनिक स्वास्थ्य पर बजट में जीडीपी का कम-से-कम 3% खर्च करो. सभी स्तरों पर स्वास्थ्य सुविधाओं का सार्वभौमिकरण करो.
6. आवश्यक वास्तु अधिनियम को ख़त्म करने तथा मंडी कानून में संशोधन कर अनियंत्रित कीमतों के आधार पर राज्यों के बीच खाद्यान्न की बेरोकटोक आवाजाही की इजाजत देने वाले अध्यादेशों को रद्द किया जाएं.
7. मौजूदा श्रम कानूनों को निरस्त/संशोधित/निलंबित करने के सभी प्रस्तावों को वापस लिया जाएं.
8. सार्वजनिक क्षेत्र के उद्यमों, ख़ास तौर पर भारतीय रेलवे तथा बिजली,पेट्रोलियम, कोयला, बैंक/बीमा, रक्षा उत्पादन आदि क्षेत्रों के उद्यमों का निजीकरण निरस्त किया जाएं.
9. प्रधानमंत्री के नाम से बनाए गए एक निजी ट्रस्ट का सारा पैसा राज्यों के बीच बांटा जाएं, जो महामारी का मुकाबला करने में अग्रिम पंक्ति में हैं.
10. चूंकि इस महामारी का मुकाबला करने के लिए एक आपदा प्रबंधन कानून का सहारा लिया गया है, इस महामारी में जान गंवाने वाले के परिवारों को राष्ट्रीय आपदा राहत कोष के प्रावधानों के अनुसार एकमुश्त वित्तीय सहायता दी जाए.
11. एससी/एसटी/ओबीसी तथा विकलांगों के लिए आरक्षण को सख्ती से लागू किया जाएं. बैकलॉग के सारे पदों को भरा जाएं.
12. ग्रेजुएशन और पोस्ट-ग्रेजुएशन के अंतिम वर्ष के छात्रों को पिछले सेमेस्टरों के प्रदर्शन के आधार पर जांचा जाएं तथा डिग्री दी जाएं.
13. 2019 के अगस्त से जम्मू-कश्मीर में बंद किए गए सभी लोगों को फ़ौरन रिहा किया जाएं और लोगों को बेरोक-टोक आवाजाही की इजाजत दी जाएं.
14. यूएपीए, एनएसए, राजद्रोह जैसे अति दमनकारी कानूनों के अंतर्गत जेलों में बंद सभी राजनैतिक बंदियों को रिहा किया जाएं.
15. पर्यावरण प्रभाव आंकलन मसौदा अधिसूचना, 2020 को वापस लिया जाएं.
16. दलितों के खिलाफ बढ़ती जातिवादी हिंसा, महिलाओं के खिलाफ घरेलू व यौन हिंस तथा आदिवासियों के शोषण के दोषियों को सजा दी जाएं.