10 करोड़ से ज्यादा सस्ते स्मार्टफोन बाजार में उतारेगी रिलायंस जियो, चीनी कंपनियों पर निर्भरता होगी खत्म

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नई दिल्ली(एजेंसी)चीनी मोबाइल कंपनियों पर निर्भरता खत्म करने और देश में ही सस्ते 4जी स्मार्टफोन का निर्माण करने के लिए देसी कंपनियों ने कमर कस ली है। उद्योग सूत्रों के अनुसार, भारती एयरटेल और रिलायंस जियो ने देसी मोबाइल कंपनियों से साझेदारी कर 1000 से 2500 रुपये तक के स्मार्टफोन लॉन्च करने की तैयारी कर रही है।

सूत्रों के अनुसार, एयरटेल ने स्थानीय ब्रैंड्स के साथ मिलकर लॉक्ड और अनलॉक्ड दोनों तरह के स्मार्टफोन लाने की तैयारी की है। हालांकि, भारत में लॉक्ड डिवाइस का बहुत ज्यादा चलन नहीं है। वहीं, यूएस और कई दूसरे पश्चिमी देशों में टेलिकॉम ऑपरेटर्स स्मार्टफोन कंपनियों के साथ मिलकर ऐसे फोन लाती हैं जो टैरिफ प्लान या मंथली पेमेंट ऑप्शन के साथ आते हैं। अब भारती एयरटेल भी भारत में ऐसे ही फोन ला सकती है।

वहीं, रिलायंस जियो जल्द ही 10 करोड़ से ज्यादा सस्ते स्मार्टफोन लाने जा रही है। यह ऐंड्रायड स्मार्टफोन होंगे और इनके साथ में डेटा पैक्स भी शामिल होगा। सूत्रों ने बताया कि रिलायंस जियो ऐंड्रॉइड प्लेटफॉर्म पर काम करने वाले 10 करोड़ से ज्यादा सस्ते स्मार्टफोन की मैनुफैक्चरिंग करना चाहती है। इन स्मार्टफोन को दिसंबर, 2020 तक लॉन्च किया जा सकता है।

चीनी कंपनियों को मिलेगी टक्कर
रिलायंस और एयरटेल की ओर से देश में सस्ते 4जी स्मार्टफोन पेश करने के बाद चीनी स्मार्टफोन कंपनी शियोमी, रियलमी, ओप्पो और वीवो जैसे ब्रैंड्स को कड़ी टक्कर मिलेगी। चीनी फोन कंपनियों का भारतीय स्मार्टफोन बाजार में बड़ा मार्केट शेयर है। यहां बिकने वाले हर 10 में से 8 स्मार्टफोन चीनी कंपनी के होते हैं। एक रिपोर्ट के मुताबिक, चीनी मोबाइल कंपनियों का भारतीय मोबाइल बाजार पर 75 फीसदी से अधिक कब्जा है।

चीन की कंपनियों का प्रोडक्शन घटा
चीन के साथ भारत के सीमा विवाद से चीनी मोबाइल कंपनियों के प्रोडक्शन पर काफी असर हुआ है। शियोमी, ओपो, वीवो और रीयलमी जैसी चीनी कंपनियों के हजारों करोड़ रुपयों के स्मार्टफोन का प्रोडक्शन काफी प्रभावित हुआ है। इसकी वजह ये है कि चीन से आने वाले इनके कॉम्पोनेंट नहीं पहुंच पा रहे हैं, क्योंकि बंदरगाहों पर इस समय सख्त चेकिंग हो रही है और सप्लाई घट गई है।

भारतीय मोबाइल कंपिनयों के लिए अवसर
चीनी स्मार्टफोन कंपनियों की पैठ के कारण देसी मोबाइल कंपनियों ने अपनी पहचान खो दी थी। एक रिपोर्ट के मुताबिक भारतीय स्मार्टफोन बाजार में चीनी कंपनी शियोमी की हिस्सेदादरी 29%, कोरियाई कंपनी सैमसंग के पास 23% मार्केट शेयर है। इसके अलावा वीवो, ओप्पो और वनप्लस जैसे चीनी कंपनियां भी भारत में व्यापार कर भारी मुनाफा कमा रही है। अब एक बार फिर से इन देसी कंपनियों ने अपनी हिस्सेदारी बढ़ाने पर जोर दिया है। माइक्रोमैक्स 7 से 20 हजार रुपये की रेंज के फोन उतार रही है। आपको बता दें कि साल 2015 तक भारत में लावा, माइक्रोमैक्स, कार्बन जैसी कंपनियों ने बजट फोन पर कब्जा जमाया हुआ था।

भारत में उत्पादन शुरू करेगी 24 कंपनियां
केंद्र सरकार ने देश में मोबाइल फोन का उत्पादन बढ़ाने के लिए कंपनी प्रोडक्शन लिंक्ड इनसेंटिव (पीएलआई) स्कीम ले कर आई है। इसमें कंपनियों को भारत में फैक्ट्री लगाने पर कई तरह की रियायत और छूट दी जा रही है। इस स्कीम के बाद 24 मोबाइल कंपनियों ने भारत की ओर रुख करने का फैसला किया है। इन कंपनियों ने सरकार के पास फैक्टी लगाने के लिए आवेदन किया है। आवेदन मंजूर होने के बाद ये कंपनियां भारत को मोबाइल फोन निर्यात कर सकेंगी या भारत में ही फोन का निर्माण कर सकेंगी। एक रिपोर्ट के मुताबिक, जनवरी मार्च के दौरान चीनी मोबाइल कंपनियों का भारत में मार्केट शेयर 81 फीसदी था जो अप्रेल जून तिमाही में घटकर 71% पर आ गया है। मार्केट शेयर में गिरावट के चलते टॉप चीनी मोबाइल कंपनियों के मार्केट शेयर में भी गिरावट दर्ज की गई है।

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