बाहर से आने वाले प्रवासियों को जिले की सीमा पर ही दी जायेगी ठहरने और खाने-पीने की व्यवस्था, सत्रह पुनर्वास केन्द्र बनाये गये

- Advertisement -

लाॅकडाउन के दौरान गांवों में या जिले से अन्य जगहों पर आवागमन पर पूरी तरह रोक रहेगी
कोरबा@M4S: मुख्यमंत्री भूपेष बघेल द्वारा कल वीडियो काॅन्फ्रेंसिंग में दिये गये निर्देषों के बाद अपने घरों के लिये लौटने वाले प्रवासी मजदूरों और कामगारों के ठहरने और खाने की व्यवस्था जिला कोरबा में सुनिष्चित की जा रही है। कलेक्टर श्रीमती किरण कौषल ने निर्देषों के परिपालन में लाॅकडाउन के बाद भी कोरबा जिले की सीमा में प्रवेष करने वाले सभी प्रवासी कामगारों के लिये सीमावर्ती क्षेत्रों में ही ठहरने और खाने-पीने की व्यवस्था करने के निर्देष सभी अनुविभागीय राजस्व अधिकारियों को दिये हैं। कोरोना वायरस के फैलाव को देखते हुये श्रीमती कौषल ने किसी भी स्थिति में ऐसे किसी भी प्रवासी कामगार को अपने जिले से होकर अन्यत्र जाने देने या जिले मंे स्थित अपने गांवों तक जाने देने पर पूरी तरह से रोक लगाने के निर्देष भी दिये हैं।
कलेक्टर के निर्देष पर जिले में इसके लिये 17 जगहों पर अस्थायी पुनर्वास केन्द्र भी बनाये गये हैं और उन पुनर्वास केन्द्रों में जरूरी व्यवस्थाओं के लिये प्रभारी अधिकारियों की भी ड्यूटी लगाई गई है। कोरबा विकासखण्ड के सीमावर्ती इलाकों श्यांग और कुदमुरा में दो-दो अस्थायी पुनर्वास केन्द्र बनाये गये हैं। प्री.मै. आदिवासी बालक छात्रावास श्यांग, आदिवासी कन्या आश्रम श्यांग, प्री.मै. आदिवासी बालक छात्रावास कुदमुरा और आदिवासी कन्या आश्रम कुदमुरा को अस्थायी पुनर्वास केन्द्र बनाया गया है। इसी तरह करतला विकासखण्ड के कोथारी के प्री.मै. आदिवासी बालक छात्रावास को, रामपुर के आदिवासी बालक आश्रम को, कनकी के प्री मै आदिवासी बालक छात्रावास को अस्थायी पुनर्वास केन्द्र के रूप में उपयोग किया जायेगा। पाली विकासखण्ड के सीमावर्ती क्षेत्रों हरदीबाजार के आदिवासी बालक बिंझवार आश्रम और आदिवासी कन्या आश्रम सहित मुनगाडीह के प्री मै आदिवासी बालक छात्रावास तथा सिल्ली के प्री मै आदिवासी बालक छात्रावास एवं आदिवासी बालक छात्रावास को अस्थायी पुनर्वास केन्द्र बनाया गया है। पोड़ीउपरोड़ा विकासखण्ड के सीमावर्ती क्षेत्रों में पाॅंच अस्थायी पुनर्वास केन्द्र बनाये गये हैं। प्री मै आदिवासी बालक छात्रावास मोरगा, प्री मै आदिवासी बालक छात्रावास कोरबीचोटिया, प्री मै आदिवासी कन्या छात्रावास कोरबीचोटिया, प्री मै आदिवासी बालक छात्रावास पसान और प्री मै अनुसूचित जाति कन्या छात्रावास पसान को बाहर से आने वाले प्रवासी कामगारों के ठहरने के लिये अस्थायी पुनर्वास केन्द्र बनाया गया है।
इन सभी 17 अस्थायी पुनर्वास केन्द्रों में प्रवासी कामगारों के लिये भोजन एवं ठहरने की व्यवस्था के साथ-साथ सेनेटाईजेषन, आवष्यकतानुसार स्वास्थ्य जाॅंच एवं सुरक्षा की व्यवस्था करने के निर्देष भी कलेक्टर ने जारी किये हैं। कलेक्टर ने इन सभी अस्थायी पुनर्वास केन्द्रों में रूकने वाले लोगों की दैनिक स्तर पर रिपोर्ट कलेक्टर कार्यालय को भेजने के भी निर्देष दिये हैं।

Related Articles

http://media4support.com/wp-content/uploads/2020/07/images-9.jpg
error: Content is protected !!