ग्रामीण जनप्रतिनिधियों के साथ 19 जून बनायेंगे रोका-छेका की योजना, उसी दिन से होगी व्यवस्था लागू

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गौठानों का होगा समुचित सदुपयोग, खाद वितरण से लेकर कृषि विकास आधारित अन्य गतिविधियां भी होंगी
बैठक लेकर कलेक्टर श्रीमती कौशल ने दिए जरूरी निर्देश
कोरबा@M4S: आगामी खरीफ मौसम में खेतों में लगाई गई फसलों को गांव के मवेशियों द्वारा चरने से बचाने के लिये कोरबा जिले में रोका-छेंका की व्यवस्था लागू की जायेगी। पिछले दिनों मुख्यमंत्री भूपेश बघेल ने प्रदेश के किसानों के नाम संदेश में इस व्यवस्था को स्थानीय जन प्रतिनिधियों और ग्रामीणों की मदद से लागू करने की मंशा जताई थी। मुख्यमंत्री की मंशा अनुसार पूरे छत्तीसगढ़ सहित कोरबा जिले में भी इस व्यवस्था को लागू करने के लिए तैयारियां शुरू कर दी गईं हैं। कलेक्टर किरण कौशल ने आज कलेक्टोरेट सभाकक्ष में रोका-छेका व्यवस्था लागू करने महत्वपूर्ण बैठक ली। बैठक में अतिरिक्त जिला दण्डाधिकारी संजय अग्रवाल, जिला पंचायत के सीईओ श्री कुंदन कुमार सहित कृषि, पशुपालन, मछली पालन, उद्यानिकी और राष्ट्रीय आजीविका मिशन के अधिकारी भी शामिल हुए। शुक्रवार 19 जून को जिले कीे सभी ग्राम पंचायतों में ग्रामीणजन जन प्रतिनिधियों के साथ बैठक कर रोका-छेंका व्यवस्था लागू करने के लिए अपनी पंचायत की कार्य योजना बनाएंगे। मवेशियों से फसल चराई को रोकने वाली यह व्यवस्था पूरे गांव की सहमति से इसी दिन से लागू हो जायेगी। इस व्यवस्था के क्रियान्वयन में गौठानों की भूमिका महत्वपूर्ण होगी। गौठान ग्राम वाली पंचायतों में बैठक गौठानों में आयोजित होगी। इस दौरान ग्रामीण यह शपथ भी लेंगे कि वे अपने मवेशियों को खुले में नहीं छोड़ेंगे।
कलेक्टर ने ग्राम पंचायतों में होने वाली इन बैठकों में सोशल डिस्टेसिंग मेन्टेन रखने और मास्क लगाकर ही बैठक में शामिल होने के निर्देश सभी को दिए हैं। श्रीमती कौशल ने बैठक स्थल पर हैंडवास की व्यवस्था रखने के लिए भी पंचायत सचिवों को निर्देशित किया है। बैठक में पंच-सरपंच, जन प्रतिनिधि, गांव के वरिष्ठ नागरिकों, चरवाहों सहित गौठान समिति, पूर्व सरपंच, महिलाओ को भी शामिल करने के निर्देश जारी किये गये है, ताकि गांव से संबंधित सभी पहलुओं पर विचार-विमर्श कर रोका-छेका के लिए प्रभावी योजना तैयार की जा सके। इस दौरान गौठानों में होने वाली बैठकों में विभिन्न शासकीय विभागों और अन्य जरूरतमंद किसानों को गौठानों में बनी कम्पोस्ट खाद का वितरण भी किया जायेगा। गौठानों से जुड़े स्व सहायता समूहों द्वारा बनाई गई सामग्रियों का प्रदर्शन और बिक्री भी होगी। गौठानों में पशुओं की स्वास्थ्य जांच के लिए शिविर लगाये जायेंगे। पशु पालन और मछली पालन के इच्छुक किसानों के किसान के्रडिट कार्ड भी इस दौरान बनाये जायेंगे। कृषि, पशु पालन, मछली पालन, उद्यानिकी विभाग की विभिन्न योजनाओं से लाभान्वित हितग्राहियों को सामग्री वितरण भी किया जायेगा। किसानों को अभी से गौठानों में पैरादान के लिए प्रोत्साहित किया जायेगा और गौठानों में अपने मवेशियों को नियमित रूप से भेजने के लिए भी कहा जायेगा।

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