छत्तीसगढ़ विज्ञान सभा का आयोजन
कोरबा@M4S:पंचवटी विश्राम गृह में गुरुवार को छत्तीसगढ़ विज्ञान सभा के द्वारा क्रांतिज्योति सावित्री बाई फुले जी की 188 वी जयंती मनाई गई। इस दौरान महिला शिक्षा को बढ़ावा देने व वर्तमान में महिलाओं की शिक्षा पर प्रकाश डालने एक कार्यशाला का आयोजन किया गया। यहां अतिथियों ने महिला शिक्षा, उनके अधिकार व आज की जरूरत पर तथ्यों व सांख्यकी के साथ जानकारी प्रदान की।
पहली महिला स्कूल संचालित करने वाली सावित्रीबाई फुले की 188 वी जयंती गुरुवार को मनाई गई। कार्यक्रम का आयोजन छत्तीसगढ़ विज्ञान सभा के द्वारा रखा गया था। हम आपको बता दे कि 3 जनवरी 1831 को जन्मी सावित्री बाई का बाल रूप में ही विवाह कर दिया गया था। 1 जनवरी 1848 में इनके द्वारा महिलाओं के लिए पहला स्कूल खोला गया। जहाँ स्वयं सावित्रीबाई फुले ही शिक्षिका का कार्य करती थी। इन्हें भारत की पहली महिला शिक्षिका के रूप में भी जाना जाता है। इनके द्वारा अनेको समाज सुधारक कार्य किये गए है। आज इन्ही समाज सुधारक क्रांतिज्योति जी को इनकी 188 वी जयंती पर याद किया गया। इस दौरान उपस्थित अतिथियों द्वारा वर्तमान परिपेक्ष्य में नारी शक्ति के बारे में विस्तार से बताया गया। अतिथियों में अलग-अलग क्षेत्र में कार्य कर रही सफल महिलाओं ने अपने विचार व नारी शक्ति को लेकर जानकारी प्रदान की गई। इस दौरान अधिवक्ता सरिता पाण्डेय ने महिलाओं के अधिकार व महिला सशक्तिकरण, शिक्षाविद रीता खेत्रपाल ने महिला शिक्षा, स्त्री रोग विशेषज्ञ डॉ मंजुला साहू ने महिला शिक्षा व सशक्तिकरण की महत्ता पर प्रकाश डाला वहीं पत्रकार पूजा साहू ने महिला शिक्षा के वर्तमान स्थिति के तथ्य व सांख्यकी से अवगत कराया। कार्यक्रम में छत्तीसगढ़ विज्ञान सभा के अध्यक्ष, सदस्य एवं बड़ी संख्या में छात्र छात्राएं उपस्थित रहें।