कोरबा@M4S: कोरबा जिले में जिला खनिज न्यास फंड को लेकर पंचवटी हाल में कोरबा में एक मीटिंग आयोजित की गई. इस मीटिंग में एनवायरनिक्स, सार्थक और मीरा ग्रुप के द्वारा मीटिंग आयोजित की गई.
मीटिंग का मुख्य उद्देश्य जिला खनिज न्यास फंड के कानून को लेकर की गई. इस मीटिंग में छत्तीसगढ़ सरकार रोल्स को लेकर पूरी चर्चा की गई जिसमें गांव से जितने भी लोग आए थे उन्होंने कानून को लेकर समर्थन तो किया पर यह भी बोला कि इस कानून का इंप्लीमेंटेशन जो है वह सही स्तर तक नहीं हो पा रहा है.
लोगों को लिए जो सही प्रोजेक्ट होना चाहिए वह सही प्रोजेक्ट डीएमएफटी से नहीं लग रहे हैं ओर बहुत मिस यूज किया जा रहा है
उसके अलावा जितने भी लोग आए थे उन्होंने यह भी समझ गया इसका सामाजिक मूल्यांकन होना चाहिए सोशल ऑडिट होना चाहिए और सरकार की जवाबदेही होनी चाहिए।
हर गलत तरीके से उपयोग किया गया उसका उसके खिलाफ कार्रवाई करनी चाहिए और वह पैसा लगाया गया उसके ऊपर मीटिंग में यह निर्णय लिया गया कि एक कमेटी बनाई जाएगी उस कमेटी का काम यह रहेगा पूरे राज्य में डीएमफीटी के उपयोग को एक विस्तार रूप से जांच की जाएगी और सरकार के समक्ष शिकायत भी की जाएगी इसकी शिकायत अकाउंटेंट जनरल के तहत की जाएगी और झछत्तीसगढ़ सरकार से यह भी किया जाएगा कि इस पैसे की जांच की जाए इस मीटिंग में।
सार्थक संस्था के द्वारा जो सर्वे किया गया था छत्तीसगढ़ में उसका भी खुलासा किया गया और सर्वे में यह पाया गया कि डीएमएफटी फंड का बहुत गलत तरीके से उपयोग किया जा रहा है जिस इलाके में जो पैसा लगाना था वह पैसा आप तक नहीं लगा है अंदाजी कहीं भी लग रहा है यह पैसा पार्किंग प्लेस बड़ी-बड़ी इंफ्रास्ट्रक्चर बिल्डिंग बनाई जा रही है जो कि रूल के सरासर खिलाफ है रूल में यह भी बोला गया है कि किसी भी प्रोजेक्ट के बनने से पहले ग्राम सभा की निर्णय लेना जरूरी है पर यह भी कहीं नहीं किया जा रहा है उसके अलावा जो सबसे महत्वपूर्ण छत्तीसगढ़ सरकार ने आज तक अभी तक नहीं बनाई है उसके अलावा एरिया एरिया उसके अलावा भी अभी तक घोषित नहीं किया गया है छत्तीसगढ़ सरकार के द्वारा और डिप्टी कलेक्टर के द्वारा।
इस कार्यशाला में झारखंड हाई कोर्ट के अधिवक्ता सोनल तिवारी , दिल्ली से प्रेम , कोरिया से चंद्रकांत , रायगढ़ से राजेश गुप्ता व उनके साथी ,ऊर्जा धानी भू विस्थापित संघ से अध्याझ सपूरण कुलदीप , पूर्व अध्यक्ष सुरेंद्र राठौर , सचिव ब्रजेश श्रीवास , अजय श्रीवास्तव , सूर्यकांत , लक्ष्मी चौहान , और पाली ब्लॉक जाम पाली माइन क्षेत्र के प्रभावित समिल हुए